Post Views 11
June 10, 2022
जेष्ठ मास की निर्जला एकादशी के अवसर पर शुक्रवार को हजारो श्रद्धालुओं ने पवित्र पुष्कर सरोवर की पूजा अर्चना कर आस्था की डुबकी लगाई । अलसुबह से ही सरोवर के 52 घाटो पर श्रद्धालुओ की भीड़ उमड़ना शुरू हो गई जो चिलचिलाती धुप के बावजूद दिन भर जारी रही। धार्मिक शास्त्रो और पुराणो में जेठ के पवित्र महीने की निर्जला एकादशी पर पुष्कर सरोवर की पूजा अर्चना करने व् दान पुण्य का खास महत्व बताया गया है।
ऐसी मान्यता है की पवित्र जेठ माह की निर्जला एकादशी पर तीर्थ राज पुष्कर में स्नान करने से मनुष्य अपने सब पापो से मुक्त हो जाता है।
इन्ही मान्यताओ के मध्यनजर निर्जला एकादशी पर तेज गर्मी के बावजूद महिलाओ ने अन्न जल तक ग्रहण नहीं किया और उपवास रखकर मटकी,शर्बत सहित गर्मी से निजात दिलाने वाली कई वस्तुओ का पुरोहितों को दान किया। निर्जला एकादशी पर अपने पूर्वजो की आत्मा शांति के लिये पिण्डदान और तर्पण का भी खास महत्व बताया गया है। इस विशेष दिन पर धार्मिक नगरी पुष्कर के पवित्र सरोवर के मुख्य घाटो और देव मंदिरो में उमड़े जन सैलाब से माहौल धर्ममयी हो गया।
भीड़ को देखते हुए पुलिस और पालिका प्रशासन ने श्रदालुओ की सुविधा के लिए विशेष इंतजाम किये। हिंदू धर्म शास्त्र के खगोलीय घटनाओं के अनुसार शुक्रवार प्रातः 7:26 के बाद एकादशी का प्रारंभ हुआ जो शनिवार रात्रि 3:00 बजे तक रहेगा।
वहीं दूसरी ओर वैष्णव और निंबार्क संप्रदाय से जुड़े हिंदू धर्मावलंबी एकादशी का पर्व 11 जून शनिवार को मनाएंगे ।
© Copyright Horizonhind 2025. All rights reserved