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June 2, 2017
सहारनपुर - पुलिस की तमाम कोशिशों के बावजूद सहारनपुर जातीय हिंसा का आरोपी भीम आर्मी का मुखिया चंद्रशेखर आजाद उर्फ रावण पुलिस के हत्थे नहीं चढ़ पाया है। पुलिस ने रावण पर दबाव बनाने के लिए उसके परिजनों पर शिकंजा कस दिया है। गुरुवार को पुलिस ने उसकी मां और भाई को हिरासत में ले लिया।इस बीच प्रदेश के नागरिक सुरक्षा मंत्री अनिल राजभर ने कहा कि भीम आर्मी सूबे की बड़ी आबादी को जातीय हिंसा के दलदल में धकेलना चाहती है। उसकी यह मंशा सफल नहीं होने दी जाएगी।चंद्रशेखर की मां कमलेश व भाई कमल किशोर बामियान बौद्ध विहार कॉलोनी में गुरुवार शाम चार बजे पत्रकारों से वार्ता करने वाले थे। इसके बाद पुलिस ने बौद्ध विहार को घेर लिया। इस पर मां-बेटे ने मीडिया से बामियान बौद्ध विहार के बाहर सड़क पर खड़े होकर ही बात की। दोनों ने पुलिस-प्रशासन को खरी-खोटी सुनाते हुए आरोप लगाने शुरू किए तो थाना सदर बाजार व स्वाट टीम ने पहले कमल किशोर को हिरासत में लिया। बाद में महिला कांस्टेबल बुलवाकर कमलेश को भी पुलिस जीप में बैठा लिया। एसएसपी बबलू कुमार ने बताया कि पिछले दिनों पता चला था कि रावण गुपचुप तरीके से घर आया था। इसी सिलसिले में मां-बेटे को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है। दूसरी ओर कमलेश व कमल किशोर को हिरासत में लेने की कार्रवाई को एक युवक मोबाइल में कैद कर रहा था। यह देख पुलिसकर्मियों ने उसका मोबाइल कब्जे में ले लिया। बाद में वीडियो डिलीट कर मोबाइल वापस कर दिया
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