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December 12, 2020
पाकिस्तान में प्रधानमंत्री इमरान खान के हालात ठीक नहीं हैं। अव्वल तो उनकी सरकार के खिलाफ हो रही रैलियां हो रही हैं। वहीं दूसरी ओर अब अदालत के एक फैसले के बाद शुक्रवार को उन्हें अपनी कैबिनेट में फेरबदल करना पड़ गया।
दरअसल, इमरान खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) 2018 में सत्ता में आई थी और उसके बाद से यह चौथा कैबिनेट फेरबदल है। इस्लामाबाद उच्च न्यायालय ने हाल में फैसला दिया है कि अनिर्वाचित और विशेष सहायक कैबिनेट समितियों की अगुवाई नहीं कर सकते हैं।
खान ने शेख रशीद अहमद को गृह मंत्री और डॉ. अब्दुल हफीज शेख को वित्त मंत्री नियुक्त किया है। सरकारी रेडियो पाकिस्तान की खबर के मुताबिक, अहमद पहले से ही कैबिनेट का हिस्सा हैं और रेल मंत्रालय का जिम्मा संभाल रहे थे जबकि हफीज शेख वित्त और राजस्व पर सलाहकार के तौर पर सेवा दे रहे थे।
अहमद के बारे में खास बात यह भी है कि वे अपने अजीबोगरीब बयानों को लेकर चर्चा में रहे हैं। उन्होंने अपने एक बयान में कहा था कि पाकिस्तान के पास 100 और 250 ग्राम तक के एटम बम हैं जो हिंदुस्तान में किसी खास लक्ष्य को तबाह कर सकते हैं।
गृह मंत्रालय का जिम्मा संभाल रहे ब्रिगेडियर (सेवानिवृत्त) एजाज अहमद शाह को स्वापक नियंत्रण मंत्री बनाया गया है जबकि आजम खान स्वाती को रेल मंत्रालय की जिम्मेदारी दी गई है। माना जाता है कि हफीज शेख को मार्च में सीनेट का सदस्य बनाया जाएगा, तब उच्च सदन के लिए चुनाव होंगे।
नए कैबिनेट में सबसे अहम बदलाव अहमद के मंत्रालय में किया गया है। रेलवे के कामकाज में सुधार करने में नाकाम रहने के बावजूद उन्हें गृह मंत्रालय का जिम्मा सौंपा गया है
वह निर्वाचित सदस्य नहीं हैं और वह कई समितियों की अगुवाई नहीं कर सकते हैं। हफीज शेख को संविधान के अनुच्छेद 91 (9) के तहत मंत्री नियुक्त किया गया है। वह छह महीने तक मंत्री के पद पर रह सकते हैं। उन्हें उसके बाद कौमी (राष्ट्रीय) असंबेली या सीनेट के लिए निर्वाचित होना होगा।
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