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November 27, 2025
27 नवंबर 2025 गुरुवार को रन फॉर यूनिटी आत्मनिर्भर अभियान के तहत यमुना प्रवाह यात्रा का स्वागत व विद्यार्थी संवाद कार्यक्रम शहर जिला अजमेर द्वारा जेएलएन मेडिकल कॉलेज के भीमराव अंबेडकर सभागार में किया गया।
संबोधित करते हुए विधानसभा अध्यक्ष वासुदेव देवनानी ने कहा कि लौह पुरूष सरदार वल्लभ भाई पटेल ने अपनी दूरदर्शी सोच, दृढ़ इच्छाशक्ति और साहसिक निर्णयों से भारत को एकजुट कर राष्ट्र निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई,उन्होंने युवाओं से आह्वान किया कि युवा सरदार पटेल के जीवन से प्रेरणा लेकर ‘राष्ट्र प्रथम’ को सर्वोपरि रखें तथा एक मजबूत, एकजुट तथा विकसित भारत के निर्माण में योगदान दे
केन्द्रीय कृषि राज्य मंत्री भागीरथ चौधरी ने कहा कि यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आह्वान पर पूरे देशभर में सरदार पटेल की 150वीं जयंती मनाई जा रही है, इसी के तहत यमुना प्रवाह यात्राभी संचालित की जा रही है,चौधरी ने बताया कि सरदार पटेल की जन्मभूमि कमरसद तक की यात्रा करेंगे, यह यात्रा युवाओं के लिए सरदार पटेल के जीवन, संघर्ष और देशभक्ति को करीब से जानने का अवसर है, साथ ही, युवाओं को सरदार पटेल के आदर्शों और मूल्यों को समझने का प्रत्यक्ष अनुभव भी मिलेगा, सरकार ने दुनिया की सबसे ऊँची प्रतिमा ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ बनाकर सरदार पटेल को सच्ची श्रद्धांजलि दी है और अब सरदार @150 यूनिटी मार्च उनके विचारों को देशव्यापी रूप से स्थापित करेगा
सरदार पटेल ने रियासतों को एक सूत्र में पिरोकर ‘एक भारत’ की मजबूत नींव रखी। यह यूनिटी मार्च उसी एकता, समरसता और भावनात्मक जुड़ाव का प्रतीक हैकश्मीर से कन्याकुमारी और कच्छ से कोहिमा तक, लाखों लोग राष्ट्रीय एकता के लिए एक साथ पद यात्रा कर रहे हैं जो सरदार वल्लभभाई पटेल की विरासत के उत्सव के साथ ही राष्ट्र निर्माण में युवा ऊर्जा को विकसित भारत के लक्ष्य की अग्रसर करने का राष्ट्रीय आंदोलन भी हैदक्षिण विधायक अनीता भदेल ने कहा कि सरदार पटेल का स्वतंत्रता आंदोलन में अमूल्य योगदान रहा। बारडोली सत्याग्रह में उनकी प्रभावशाली भूमिका के कारण उन्हें सरदार की उपाधि दी गई।,उन्होंने स्वतंत्रता आंदोलन में भी बढ़-चढ़कर भाग लिया और किसानों को अपने अधिकारों के लिए लड़ना सिखाया और सरदार पटेल जेल भी गए। लेकिन उन्होंने कभी अपने सिद्धांतों के साथ समझौता नहीं किया। 15 अगस्त 1947 को भारत को आजादी तो मिली लेकिन विभाजन का दर्द भी सहना पड़ा,उस समय देश सैकड़ों टुकड़ों में बंटा हुआ था। उन्होंने कहा कि देश की 562 रियासतें स्वतंत्र इकाई थी
देव नारायण बोर्ड के अध्यक्ष ओम प्रकाश भड़ाना ने आत्मनिर्भर भारत के तहत स्वदेशी अपनाने की प्रतिज्ञा दिलवायी साथ ही भड़ाना ने कहा कि सरदार पटेल ने ही अपनी कूटनीति, दूरदर्शिता और कभी-कभी कठोरता का इस्तेमाल करते हुए प्रत्येक रियासत को भारत में मिलाना शुरू किया। उन्होंने कहा कि सरदार पटेल ने ऑपरेशन पोलो चलाकर हैदराबाद तथा जनमत संग्रह कराकर जूनागढ़ को भारत में शामिल कराया। उन्होंने भारत की एकता और अखंडता को अपना सबसे बड़ा लक्ष्य बनाया और उसे पूरा करके दिखाया
स्वागत भाषण भाजपा शहर जिलाध्यक्ष रमेश सोनी ने दिया साथ ही कहा कि प्रधानमंत्री ने सरदार पटेल की विरासत को आगे बढ़ाने का बीड़ा उठाया है,सरदार पटेल का अधूरा सपना प्रधानमंत्री ने कश्मीर से धारा 370 हटाकर पूरा किया,सोनी ने कहा कि प्रधानमंत्री भारत को एक सूत्र में बांध रहे है, पूर्व से पश्चिम तक और उत्तर से दक्षिण तक आज भारत एक हो रहा है। सरदार पटेल के योगदान को सम्मान देते हुए विश्व की सबसे बड़ी प्रतिमा स्टैच्यू ऑफ यूनिटी बनाई गई। प्रधानमंत्री के नेतृत्व में वर्ष 2014 के बाद देश में गरीब कल्याण, विकास योजनाओं, आतंकवाद-नक्सलवाद का खात्मा तथा विश्व पटल पर देश का सम्मान बढ़ने जैसे अभूतपूर्व कार्य हुए है, पूरा विश्व भारत को उम्मीदों से देख रहा है तथा दुनिया के सबसे बड़े लीडर के नेतृत्व में देश नई ऊचाईयां छू रहा है
कार्यक्रम की प्रस्तावना भाजयुमो के राष्ट्रीय कार्यालय मंत्री विनीत त्यागी ने किया
कार्यक्रम का संचालन युवा कार्यकर्ता रचित कच्छावा ने किया
कार्यक्रम मे उपमहापौर नीरज जैन,सुरेन्द्र सिंह शेखावत,युवा मोर्चा राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य देवकिशन मारू, जितेंद्र झा,जिला महामंत्री राजेश शर्मा,राजेश घाटे,जिला उपाध्यक्ष वेद प्रकाश दाधीच, सतीश बंसल, दीपेन्द्र लालवानी, रविंद्र जादौन, हेमंत सांखला,काजल जेठवानी, चंद्रेश सांखला,राधिका सोनी,विक्रम सिंह निक्की जैन,रचित कच्छावा,विक्रम सिंह,दीपक शर्मा,संदीप गोयल,रजनीश चौहान,भवानी जेदिया,हितेश डाबरिया ,संदीप माखीजानी,लक्ष्मण पहलवान,दीपक सिंह, महेन्द्र पाटनी,नीरज पारीक,बाबूलाल गुर्जर,विकास गोरा,सर्वेश बजाज,मोनिका डीडवानिया,विकास माथुर,गोपाल अहीर,अजय नरूका,विजय टाक,नितेश कनोजिया,रवि वैष्णव,कपिल सांखला, गजेन्द्र गहलोत, इन्द्र मोहन अग्रवाल आदि पदाधिकारी,कार्यकर्ता व विद्यार्थी उपस्थित रहे
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