For News (24x7) : 9829070307
RNI NO : RAJBIL/2013/50688
Visitors - 103386217
Horizon Hind facebook Horizon Hind Twitter Horizon Hind Youtube Horizon Hind Instagram Horizon Hind Linkedin
Breaking News
Ajmer Breaking News: मीनू स्कूल चाचियावास में पूज्य पारबह्रा ट्रस्ट चिकित्सा इकाई द्वितीय आशागंज ,अजमेर द्वारा दिव्यांग बच्चों के लिए आयोजित केम्प का शुभारम्भ |  Ajmer Breaking News: रीट-2024 का परीक्षा परिणाम घोषित, 6 लाख अभ्यार्थी हुए पास, लेवल-1 में 62.33%, लेवल-2 में 44.69% और दोनों में 50.77% अभ्यार्थी हुए उत्तीर्ण  |  Ajmer Breaking News: मोदी सरकार की नेतृत्व में भारतीय सेना द्वारा किए गए ऑपरेशन सिंदूर की सफलता पर पूरे देश में खुशी का माहौल, |  Ajmer Breaking News: अजमेर में एयर रेड और बम ड्रॉप की सूचना पर जिला और पुलिस प्रशासन सहित एनडीआरएफ, एसडीआरएफ व अन्य विभागों ने की मॉक ड्रिल, |  Ajmer Breaking News: सदर कोतवाली थाना अंतर्गत ज्वेलर्स की शॉप से बुर्का धारी महिला ने ₹6 लाख रुपए कीमत के दो सोने के मंगलसूत्र चुराए, |  Ajmer Breaking News: पुलिस थाना क्रिश्चियनगंज व जिला स्पेशल टीम अजमेर ने अवैध हथियार मय कारतूस के एक आरोपी को किया गिरफ्तार |  Ajmer Breaking News: आतंकवादियों को पाकिस्तान में घुस कर नेस्तनाबूद करने के लिए मोदी सरकार द्वारा शुरू किए गए ऑपरेशन सिंदूर की कामयाबी |  Ajmer Breaking News: कांग्रेस कार्यकर्ता राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे के बब्बर शेर, भाजपा से डरने वाले नहीं-डोटासरा |  Ajmer Breaking News: पुष्कर के रामधाम तिराये पर नौ खंडीय तुलसी मानस हनुमान मंदिर में जानकी नवमी के अवसर पर अखंड रामायण पाठ के तहत 24 घंटे राम चरित मानस पाठ का शुभारंभ |  Ajmer Breaking News: केबिनेट मंत्री और पुष्कर विधायक सुरेशसिंह रावत के जन्मदिन पर आज पुष्कर सहित पूरे विधानसभा में अनेक सेवाकार्य किये गये । | 

अजमेर न्यूज़: 29 सितंबर शुक्रवार प्रतिप्रदा से शुरू होंगे श्राद्ध पक्ष ,  14 अक्टूबर सर्व पितृ अमावस्या तक जारी रहेगा श्राद्ध पक्ष

Post Views 561

September 28, 2023

वैसे तो धार्मिक नगरी पुष्कर में पूरे साल अलग-अलग तरह के धार्मिक आयोजन चलते रहते है लेकिन श्राद्ध पक्ष के दौरान घाटो पर एक अलग सा द्रश्य देखने मिलता है

29 सितंबर शुक्रवार प्रतिप्रदा से शुरू होंगे श्राद्ध पक्ष, 14 अक्टूबर सर्व पितृ अमावस्या तक जारी रहेगा श्राद्ध पक्ष

धार्मिक नगरी पुष्कर में अपने पूर्वजो की आत्मा की शान्ति के लिए उनके पिण्डदान करने की मान्यता सदियों से चली आई है । विशेषकर श्राद्ध पक्ष में पिण्डदान करने से व्यक्ति पितृ ऋण से मुक्त होता है इसका उल्लेख पद्मपुराण में भी  किया गया है । भगवान राम  ने भी अपने पिता दशरथ का पुष्कर में श्राद्ध किया था । इसी मान्यता से प्रेरित होकर श्राद्ध पक्ष के पहले दिन प्रतिप्रदा तिथि के मौके पर देश के कोने -कोने से श्रद्धालु पुष्कर पहुंचते है । 

श्रदालु अपने पूर्वजो की आत्मशांति के लिये पिंडदान और तर्पण करते है । वैसे तो धार्मिक नगरी पुष्कर में पूरे साल अलग-अलग तरह के धार्मिक आयोजन चलते रहते है लेकिन श्राद्ध पक्ष के दौरान घाटो पर एक अलग सा द्रश्य देखने मिलता है । हर तरफ पिंडो में अपने पूर्वजो की आत्मा को ढूंढते श्रद्धालुओ का सैलाब इस बात का प्रमाण है की आज के इस आधुनिक युग में भी लोग कही ना कही अपने इतिहास और संस्कृति से जुड़े हुए है । पुरोहितो के अनुसार सारे तीर्थो में श्राद्ध करने के बाद भी  पुष्कर में श्राद्ध करने से ही प्राणी की आत्मा को शांति मिलती है । पिण्डदान, तर्पण और धार्मिक अनुष्ठान करने के लिए सुबह से ही सरोवर किनारे दूर -दराज के सैकड़ो श्रदालुओ का ताँता लगना शुरू हो जाता है । राजस्थान के अलावा मध्यप्रदेश , उड़ीसा , उत्तरप्रदेश सहित विभिन्न राज्यों के श्रदालु श्राद पक्ष के दिनों में  तीर्थ गुरु पुष्कर में पंडितो के आव्हान पर पितृ शान्ति के लिए पिण्डदान,तर्पण और धार्मिक अनुष्ठान करते है  । 29 सितंबर शुक्रवार प्रतिप्रदा से शुरू हुआ ये दौर 14 अक्टूबर सर्व पितृ अमावस्या तक जारी रहेगा ।

पितृ कार्य के लिए महत्वपूर्ण है पुष्कर

पुष्कर के पुरोहित सतीश चंद्र तिवाडी और हरिप्रसाद पाराशर बताते हैं कि पुष्कर सरोवर हिंदुओं के प्रमुख तीर्थ में से एक है। धार्मिक ग्रंथो के अनुसार सतयुग में पुष्कर तीर्थ का उदय हुआ था । पद्म पुराण और महाभारत महाकाव्य में पुष्कर तीर्थ में पिंडदान तर्पण और श्राद्ध के महत्व को अंकित किया गया है । मान्यता है कि पुष्कर में सात पीडिया का श्रद्धा और पिंडदान किया जाता है । पद्म पुराण के अनुसार भगवान राम ने अपने पिता दशरथ को पुष्कर में ही पिंडदान दिया था । इन्हीं मान्यताओं के चलते देशभर से लाखों लोग आस्था का दामन था  पुष्कर पहुंचते हैं और अपने पूर्वजों के निमित्त तर्पण पिंडदान करते हैं ।


© Copyright Horizonhind 2025. All rights reserved