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December 19, 2025
अनिल वनवानी . उदयपुर। पूर्व राजपरिवार की अरबों की संपत्ति को लेकर चल रहा विवाद अब और गहराता जा रहा है। महाराणा अरविंद सिंह मेवाड़ की वसीयत को उनकी ही संतान ने चुनौती दी है, जिससे यह मामला सुप्रीम कोर्ट से होते हुए अब दिल्ली हाईकोर्ट तक पहुंच गया है।
पूर्व राजपरिवार के सदस्य और एचआरएच ग्रुप ऑफ होटल्स के मालिक लक्ष्यराज सिंह मेवाड़ और उनकी बहन पद्मजा कुमारी परमार के बीच सिटी पैलेस, एचआरएच होटल्स ग्रुप समेत अन्य संपत्तियों के अधिकार को लेकर लंबे समय से कानूनी जंग चल रही है। पद्मजा कुमारी ने अपने पिता अरविंद सिंह मेवाड़ की वसीयत की वैधता पर सवाल खड़े किए हैं। सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता मुकुल रोहतगी ने बताया कि यह विवाद महाराणा भगवत सिंह मेवाड़ के उत्तराधिकार से जुड़ा हुआ है। परिवार के सदस्यों के बीच यह तय नहीं हो पा रहा है कि संपत्ति का असली हकदार कौन है और वसीयत कानूनन सही है या नहीं।
दिलचस्प बात यह है कि दोनों भाई-बहन ने अलग-अलग हाईकोर्ट में याचिकाएं दायर की थीं। लक्ष्यराज सिंह मेवाड़ ने मुंबई हाईकोर्ट में लंबित मामलों को राजस्थान हाईकोर्ट ट्रांसफर करने की मांग की थी, जबकि उनकी बहन ने जोधपुर बेंच में चल रहे मामलों को बॉम्बे हाईकोर्ट भेजने की अपील की थी। इस खींचतान के बीच सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा फैसला लेते हुए सभी मामलों को दिल्ली हाईकोर्ट में ट्रांसफर करने का आदेश दिया है। कोर्ट ने यह भी कहा है कि यदि दोनों पक्षों के बीच कोई अन्य मामला किसी और अदालत में लंबित है, तो उसे भी दिल्ली हाईकोर्ट लाने के लिए आवेदन किया जा सकता है। अब 11 जनवरी को दिल्ली हाईकोर्ट में होने वाली सुनवाई पर सबकी नजरें टिकी हैं। सवाल सिर्फ संपत्ति का नहीं, बल्कि मेवाड़ की ऐतिहासिक विरासत और राजपरिवार के भविष्य का भी है।
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