For News (24x7) : 9829070307
RNI NO : RAJBIL/2013/50688
Visitors - 103333898
Horizon Hind facebook Horizon Hind Twitter Horizon Hind Youtube Horizon Hind Instagram Horizon Hind Linkedin
Breaking News
Ajmer Breaking News: मोदी सरकार की नेतृत्व में भारतीय सेना द्वारा किए गए ऑपरेशन सिंदूर की सफलता पर पूरे देश में खुशी का माहौल, |  Ajmer Breaking News: अजमेर में एयर रेड और बम ड्रॉप की सूचना पर जिला और पुलिस प्रशासन सहित एनडीआरएफ, एसडीआरएफ व अन्य विभागों ने की मॉक ड्रिल, |  Ajmer Breaking News: सदर कोतवाली थाना अंतर्गत ज्वेलर्स की शॉप से बुर्का धारी महिला ने ₹6 लाख रुपए कीमत के दो सोने के मंगलसूत्र चुराए, |  Ajmer Breaking News: पुलिस थाना क्रिश्चियनगंज व जिला स्पेशल टीम अजमेर ने अवैध हथियार मय कारतूस के एक आरोपी को किया गिरफ्तार |  Ajmer Breaking News: आतंकवादियों को पाकिस्तान में घुस कर नेस्तनाबूद करने के लिए मोदी सरकार द्वारा शुरू किए गए ऑपरेशन सिंदूर की कामयाबी |  Ajmer Breaking News: कांग्रेस कार्यकर्ता राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे के बब्बर शेर, भाजपा से डरने वाले नहीं-डोटासरा |  Ajmer Breaking News: पुष्कर के रामधाम तिराये पर नौ खंडीय तुलसी मानस हनुमान मंदिर में जानकी नवमी के अवसर पर अखंड रामायण पाठ के तहत 24 घंटे राम चरित मानस पाठ का शुभारंभ |  Ajmer Breaking News: केबिनेट मंत्री और पुष्कर विधायक सुरेशसिंह रावत के जन्मदिन पर आज पुष्कर सहित पूरे विधानसभा में अनेक सेवाकार्य किये गये । |  Ajmer Breaking News: हरिभाऊ उपाध्याय नगर  थाना अंतर्गत युवती को शादी का झांसा देकर दुष्कर्म करने वाले आरोपी को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया |  Ajmer Breaking News: अजमेर जिला कांग्रेस ब्लॉक अध्यक्ष व कार्यकर्ताओं ने जिला कलेक्टर को और एसपी को दिया ज्ञापन, | 

राजस्थान न्यूज़: विपक्ष के धरने के बीच सरकार ने ध्वनिमत से पारित करवाया विधेयक

Post Views 841

October 26, 2017

राजस्थान विधानसभा के नौवें सत्र के दौरान बुधवार को विपक्षी विधायक सदम धरने पर बैठे रहे और सरकार ने धरने के बीच राजस्थान विधानसभा सदस्य निरर्हता -निवारण विधेयक, 2017 को ध्वनिमत से पारित करा लिया.

संसदीय कार्यमंत्री राजेन्द्र सिंह राठौड़ ने विधेयक पर हुई बहस का जवाब देते हुए कहा कि यह विधेयक राजस्थान विधानसभा सदस्य निरर्हता-निवारण अधिनियम, 1956 तथा राजस्थान विधानसभा सदस्य निरर्हता-निवारण अधिनियम, 1969 का समेकित रूप है.

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार इस बिल के माध्यम से दो अधिनियमों को एक ही अधिनियम में शामिल करना चाहती है. इस विधेयक के माध्यम से लाभ के कुछ पद राज्य की विधानसभा के सदस्य होने के लिए अयोग्य नहीं होंगे.

राठौड़ ने कहा कि राज्य सरकार की मंशा है कि अधिनियमों की संख्या को कम किया जाए. राज्य सरकार द्वारा अब तक उपयोगिता खो चुके 248 अधिनियमों का निरसन किया जा चुका है.


उन्होंने कहा कि इस बिल को संसदीय कार्य मंत्रालय द्वारा दो बार विधानसभा सचिव के माध्यम से सभी विधायकों को सुझाव के लिए प्रेषित किया गया. इससे पहले सदन ने विधेयक को जनमत जानने हेतु परिचालित करने के संशोधित प्रस्ताव को ध्वनिमत से अस्वीकार कर दिया.


© Copyright Horizonhind 2025. All rights reserved