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June 28, 2017
जयपुर। नगरीय विकास, मंत्री श्रीचंदकृपलानी ने आरयूआईडीपी के तृतीय चरण के कार्यक्रम ऋण घटक के तहतएडीबी के साथ तय प्रस्तावित नीतिगत सुधारों की प्रगति की समीक्षा करते हुए कहा कि इन सुधारों का कार्यान्वयन और अनुपालन शहरी क्षेत्र के विकास के लिए महत्वपूर्ण साबित होगा। कृपलानी मंगलवार को शासन सचिवालय में जनस्वास्थ्यअभियांत्रिकी विभाग मंत्री सुरेन्द्र गोयल के साथ समीक्षात्मक बैठक की संयुक्तअध्यक्षता कर रहे थे। श्रीचंद कृपलानी ने बताया कि इसके तहत जयपुर जल आपूर्ति एवं सीवरेजबोर्ड की स्थापना, जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग से शहरी निकायों को आरयूआईडीपीके तृतीय चरण के चार शहरों की शहरी विकास जल आपूर्ति प्रणाली का स्थानान्तरण,शहरी विकास कर प्रणाली का कार्यान्वयन जैसे महत्वपूर्ण सुधारों पर कार्रवाई एवं शहरी विकास नीति, शहरी जल आपूर्ति नीति एवं एचआरडी प्लान आदि को अपनाना है। कार्यक्रम ऋण की दूसरी किश्त, जो कि 825 करोड़ रुपए के बराबर है, को सुरक्षितकरने के लिए इन प्रमुख सुधारों का कार्यान्वयन और अनुपालन अनिवार्य है।
नगरीय ने कहा कि इन सुधारों का कार्यान्वयन और अनुपालन केवल कार्यक्रम ऋण की दूसरी किश्त प्राप्त करने के लिए ही आवश्यक नहीं है वरन्प्रदेश के शहरी क्षेत्र के विकास के लिए भी महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि नीतिगत सुधारों के अनुमोदन में तेजी लाई जाएगी एवं जुलाई-अगस्त, 2017 तक उनको अनुपालन की स्थिति तक पहुंचाया जाएगा। इनकी अनुपालना के साथ ही शहरी जलापूर्ति नीति, शहरी विकास नीति एवं मानव संसाधन विकास योजना बनाने वाला राजस्थान देश का पहला राज्य बन जाएगा।परियोजना निदेशक आरयूआईडीपी ने प्रत्येक सुधार के लिए प्रगति और तत्काल कार्रवाईयोजना पर जानकारी दी। उन्होंने कहा कि विभागों में कई बाधाएं और अलग अलग मानसिकता के बावजूद, इन नीतिगत सुधारों में ज्यादातर में महत्वपूर्ण प्रगति हुई है परंतु दो-तीन सुधार प्रगति अनुकूल नहीं होने के कारण अतिरिक्त प्रयास की आवश्यकता है। बैठक में जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव जेसी मोहन्ती, स्वायत्त शासन विभाग के प्रमुख शासन सचिव डॉ. मंजीत सिंह, वित्त सचिव मंजू राजपाल, सहित अधिकारी मौजूद थे।
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