For News (24x7) : 9829070307
RNI NO : RAJBIL/2013/50688
Visitors - 106457796
Horizon Hind facebook Horizon Hind Twitter Horizon Hind Youtube Horizon Hind Instagram Horizon Hind Linkedin
Breaking News
Ajmer Breaking News: वरूण सागर रोड़ स्थित आदित्य नगर में क्षतिग्रस्त पुलिया की मरम्मत एवं निर्माण कार्य शुरू |  Ajmer Breaking News: पुष्कर में सामाजिक एवं जनकल्याणकारी सेवा कार्यों में अग्रणी सामाजिक संगठन भारत विकास परिषद् राजस्थान (मध्य) प्रान्त की सत्र 2025-26 की द्वितीय प्रान्तीय कार्यकारिणी बैठक |  Ajmer Breaking News: रविवारीय मेले में नशामुक्ति महाअभियान का आयोजन, प्रसिद्ध भजन गायक व गोभक्त ओम मुंडेल ने गाए भैंरूजी के भजन |  Ajmer Breaking News: वैशाली नगर मुख्य मार्ग पर नशे में चूर युवकों द्वारा स्विफ्ट डिजायर कार को डिवाइडर पर चढ़कर जहां बिजली के खंभे को तोड़ दिया गया तो वहीं कार की चपेट में आई एक गाय की भी मौके पर मौत हो गई। |  Ajmer Breaking News: राजस्थान लोक सेवा आयोग द्वारा डिप्टी जेलर परीक्षा 2024 का आयोजन, रविवार को पहले दिन हिंदी व्याकरण का प्रश्न पत्र देने पहुंचे हजारों अभ्यार्थी ,अजमेर में बनाए गए 37 परीक्षा केंद्र |  Ajmer Breaking News: नागौर के सहदेव अपहरण और हत्याकांड में 9 वें आरोपी की गिरफ्तारी, पुलिस ने मेड़ता से पीछा करते हुए अजमेर में दबोचा, अब तक इस हत्याकांड में 9 आरोपी पहुंच चुके हैं जेल की सलाखों के पीछे |  Ajmer Breaking News: 12 जुलाई को महात्मा गांधी उच्च माध्यमिक विद्यालय (अंग्रेजी मीडियम), सराधना में रोटरी क्लब अजमेर ने विद्यार्थियों के बैठने हेतु 65 मेज़ व कुर्सी उपलब्ध करायी। |  Ajmer Breaking News: रिबूट एंड रिवर्स-ए 360 डिग्री न्यू फॉर स्मार्टर डायबिटीज मैनेजमेंट थीम पर अजयमेरू डायबिटीज समिट का हुआ शुभारंभ |  Ajmer Breaking News: माँ माधुरी बृज वारिस सेवा सदन द्वारा संचालित अपना घर आश्रम, अजमेर के 14वें स्थापना दिवस समारोह में जल संसाधन मंत्री श्री सुरेश सिंह रावत ने शिरकत की। |  Ajmer Breaking News: जमेर उत्तर में सैटेलाईट अस्पताल शुरू, एक लाख लोगों को मिलेगा फायदा ,अस्थाई भवन में सैटेलाइट चिकित्सालय कोटड़ा का हुआ शुभारंभ | 

क़लमकार: जी हाँ !! पाल बीछला मोहल्ले का नहीं एक ऐतिहासिक झील का नाम है

Post Views 31

March 13, 2021

किशनगढ़ की हमीर सागर और गुन्दोलाव झील के दिन क्या फिरने वाले हैं

जी हाँ !! पाल बीछला मोहल्ले का नहीं एक ऐतिहासिक झील का नाम है



किशनगढ़ की हमीर सागर और गुन्दोलाव झील के दिन क्या फिरने वाले हैं



क्या विधायक सुरेश टांक के भागीरथी प्रयास लाएंगे रंग



विधानसभा में विशेष उल्लेख प्रस्ताव के ज़रिए लाए गए प्रस्ताव पर क्या सरकार उठाएगी क़दम




सुरेन्द्र चतुर्वेदी



जिले की लगभग सभी झीलों पर संकट के बादल छाए हुए हैं। आनासागर ही नहीं पाल बीछला की ऐतिहासिक झील जो कभी खूबसूरती के लिए आना सागर जितनी ही महत्वपूर्ण हुआ करती थी ,अब उसके सीने का पानी भी सूख चुका है। कॉलोनियां बना दी गई हैं। नासमझ लोगों ने इसे मल मूत्र त्यागने के स्थान के रूप में विकसित कर दिया है।पानी की आवक को अवरुद्ध कर यहाँ खेती की जा रही है।



पालबीछला झील एक खूबसूरत झील का नाम था ये भूल कर लोग पाल बिचला को एक मोहल्ले के नाम से जानने लग गए हैं ।



किशनगढ़ की बेहद खूबसूरत झील हमीर सागर और पुराने किशनगढ़ का गुन्दोलाव तालाब अपनी दुर्दशा पर आंसू बहा रहे हैं। कोई पूछने वाला नहीं ।



मुझे खुशी है कि विधानसभा में विधायक सुरेश टांक ने हमीर सागर के दर्द को सरकार के पटल पर रखा है।उनकी जागरूकता के लिए मैं जिले भर की तरफ से उनका आभार व्यक्त करता हूँ।



सत्ताधारी सोए हुए विधायकों से या पार्टी बाज़ नेताओं से वे निर्दलीय बेहतर हैं जो अपनी भौगोलिक संपदा को सहेजने के लिए मुठ्ठी तो तानते हैं। आवाज़ तो उठाते हैं ।




विधायक सुरेश टांक ने विधानसभा में हमीर सागर की दुर्दशा पर न केवल चिंता व्यक्त की बल्कि उसकी सुरक्षा के लिए आवश्यक कदम उठाने की ज़रूरत पर भी बल दिया। उन्होंने सरकार को चेताया कि यदि हमीर सागर के लिए ठोस कदम नहीं उठाए गए तो यह झील गंदगी और बीमारियों का डिपो बनकर रह जाएगी ।




सुरेश टांक ने विधानसभा में इसके लिए विशेष प्रस्ताव रखा और विधानसभा अध्यक्ष सीपी जोशी ने उस प्रस्ताव को अनुमति दी।




प्रस्ताव रखते हुए सुरेश टांक ने कहा कि किशनगढ़ विधान सभा क्षेत्र में शहर के मध्‍य हमीर सागर तालाब है। जिसकी दशा अत्‍यंत दयनीय हो रखी है। इससे शहर की सुन्‍दता तो ख़राब हो ही रही है, साथ ही इस झील में भरा पानी भी दूषित हो रखा है। झील पर संकमण का ख़तरा मंडरा रहा है।




शहर के लोग जानते हैं कि इस झील के भरने के बाद इसका ओवरफ्लो पानी किशनगढ़ स्थित दूसरे बड़े तालाब गोंदोलाव झील में जाता है ।




......और इस प्रकार दोनों ही झीलें दूषित पानी से प्रदूषित हो रही हैं। सुरेश टांक का यह कहना एक दम सही है कि दोनों झीलों के दूषित होने का मुख्‍य कारण किशनगढ़ शहर की कई कॉलोनियों से वेस्‍ट वाटर एवं ड्रेनेज का पानी मुख्‍य सड़क पर बने नालों में नहीं जा पाता ।वज़ह ये कि कॉलोनियां सड़क से काफी नीचे लेवल पर बसी हुई हैं ।इनका वेस्‍ट वाटर नालों में लेवल के अभाव में आ नहीं पाता है।




शहर की अग्रसेन विहार कॉलोनी, कृष्‍णापुरी, चमड़ाघर, दाधीच कॉलोनी, सुन्‍दर नगर आदि ऐसी कई कॉलोनियां हैं जिनका ड्रेनेज का पानी बरसाती नालों से होता हुआ सीधा हमीर सागर झील में आकर मिल जाता है।




टांक ने विधानसभा में बताया कि किशनगढ़ नगर परिषद द्वारा स्‍लॉटर हाउस का निर्माण नहीं कराये जाने से भी कई अवैध स्‍लाटर हाउस जो विभिन्‍न जगहों पर बने हैं ,उनका गन्‍दा खून, मलबा व अन्‍य गंदगी भी इन नालों से होती हुई सीधे हमीरसागर में आती है जो कि अत्‍यंत ही चिंताजनक होने के साथ-साथ इससे धार्मिक आस्‍था को भी ठेस लग रही है।




किशनगढ़ के आमजन में लंबे समय से इस बात का ज़बरदस्‍त आक्रोश व्‍याप्‍त है। इस प्राकृतिक झील का सौंदर्य भी प्रभावित हो रहा है तथा पूरा इलाका पानी की बदबू से परेशान है।




शहर के लोगों की महत्‍ती आवश्‍यकता है कि हमीर सागर में गंदे पानी व स्‍लाटर हाउस की गंदगी जाने से रुके और इसके लिए हमीर सागर झील के पास ही वेस्‍ट वाटर ट्रीटमेंट का प्‍लांट लगे, जिससे यह गंदा पानी हमीर सागर एवं गोंदोलाव झील के पानी को दूषित नहीं करे।




यह किशनगढ़ शहर की भयंकर समस्‍या है जिसकी ओर सरकार का ध्‍यान दिया जाना आवश्‍यक है।



विशेष उल्‍लेख प्रस्‍ताव के माध्‍यम से सुरेश टांक ने स्‍वायत्‍त शासन मंत्री से निवेदन किया कि हमीर सागर में आ रहे शहर के सभी नालों का गंदा पानी, स्‍लाटर हाउस से आ रही गंदगी, गंदे खून की रोकथाम व लोगों की धार्मिक आस्‍था के मद्देनज़र हमीर सागर से पहले एक वेस्‍ट वाटर ट्रीटमेंट प्‍लांट बनाने की स्‍वीकृति प्रदान की जाए।



यहाँ आपको बता दूं कि अजमेर के आनासागर में भी दूषित पानी को शुद्ध करने वाले वेस्ट वाटर प्लांट लगे हुए हैं।इनके माध्यम से आनासागर ख़ुद बीमार होने से बचा हुआ है और शहर वासियों को भी बीमार होने से बचा पा रहा है।



किशनगढ़ में रेलवे स्टेशन से बेहद खूबसूरत नज़र आने वाला हमीर सागर रेल यात्रियों का ध्यान बरबस अपनी ओर खींच लेता है।इसकी पाल पर बना मन्दिर भी किशनगढ़ के आस्थावान लोगों की श्रद्धा का केन्द्र है।सुबह शाम यहां श्रद्धालुओं का बड़ी संख्या में आना जाना बना रहता है।



श्रद्धालुओं की आस्था उस समय डगमगा जाती है जब झील के किनारे जानवरों का लहू ,मज़्ज़ा और अन्य प्रकार के पदार्थ तैरते देखे जाते हैं।



हमीर सागर का पानी बारिश में ओवर फ्लो होकर गुन्दोलाव झील पहुंचता है।वहाँ भी ऐतिहासिक झील दूषित पानी का शिकार हो जाती है।




मेरा तो मानना है कि विधायक सुरेश टांक को जल शुद्धिकरण संयंत्र गुनदोलाव के किनारे भी बनवाये जाने की पैरवी करनी चाहिए।



गुन्दोलाव झील के किनारों पर फैल रहे भू माफ़ियाओं के षड्यंत्रों पर भी टांक को नज़र रखनी चाहिए।पिछले एक दशक में जिस तरह झील के किनारों पर प्लाट काटे जा रहे हैं और जिस तरह कालोनियां काटी जा रही हैं उसके मद्दे नज़र यह ज़रूरी हो जाता है कि ऐसे लोगों और बस्तियों को चिन्हित किया जाए।



झील के मूल स्वरूप को क़ायम रखने के लिए सर्वोच्च न्यायालय के आदेशों की पालना भी की जानी बेहद ज़रूरी है।



क्या विधायक इस दिशा में भी कोई सकारात्मक सोच रखते हैं


© Copyright Horizonhind 2025. All rights reserved