For News (24x7) : 9829070307
RNI NO : RAJBIL/2013/50688
Visitors - 114790341
Horizon Hind facebook Horizon Hind Twitter Horizon Hind Youtube Horizon Hind Instagram Horizon Hind Linkedin
Breaking News
Ajmer Breaking News: राज्य सरकार के 2 वर्ष,पर्यावरण जागरूकता रैली का हुआ आयोजन, देवनारायण बोर्ड अध्यक्ष श्री ओमप्रकाश भड़ाना ने हरि झंडी दिखा किया रैली को रवाना  |  Ajmer Breaking News: राज्य सरकार के दो वर्ष नव उत्थान - नई पहचान, बढ़ता राजस्थान - हमारा राजस्थान, गुरूवार को विभिन्न गतिविधियों का हुआ आयोजन |  Ajmer Breaking News: ग्रामीण क्षेत्र की वंचित प्रतिभाओं के लिए बेहतरीन प्लेटफॉर्म है सांसद खेल महोत्सव - सुभाष चौधरी |  Ajmer Breaking News: ख्वाजा गरीब नवाज के 814वें उर्स पर गुरुवार को जिला प्रशासन द्वारा दरगाह में चादर पेश की गई। |  Ajmer Breaking News: वाइल्डलाइफ और एंटीक प्रतिबंधित सामग्री के भंडारण की सूचना पर  हाथीभाटा में रहने वाले गिर्राज सोनी के मकान पर पुलिस टीम ने दी दबिश  |  Ajmer Breaking News: आदर्श नगर थाना अंतर्गत माखुपुरा स्थित आईटीआई कॉलेज के सामने बुधवार देर रात अज्ञात वाहन की चपेट में आने से बाइक सवार युवक की हुई मृत्यु हो गई जबकि गाड़ी चला रहा युवक गम्भीर रूप से घायल हो गया । |  Ajmer Breaking News: तत्कालीन कांग्रेस सरकार के समय मुख्यमंत्री रोजगार योजना के तहत बनाई गई गुमटियों के खिलाफ एडीए की दमनात्मक कार्यवाही से गुमटी धारकों में आक्रोश,  |  Ajmer Breaking News: तीर्थ नगरी पुष्कर के रेतीले धोरों में अंतर्राष्ट्रीय सैंड आर्टिस्ट अजय रावत ने सैंड आर्ट कलाकृति के माध्यम से अरावली पर्वतमाला के संरक्षण का संदेश दिया। |  Ajmer Breaking News: भारत निर्वाचन आयोग द्वारा कराए गए गहन पुनरीक्षण कार्य यानि SIR का मंगलवार जिला कलेक्ट्रेट सभागार में जिला निर्वाचन अधिकारी लोकबंधु द्वारा प्रेस कॉन्फ्रेंस |  Ajmer Breaking News: मतदाता सूचियां के गहन पुनरीक्षण कार्यक्रम के अंतर्गत मंगलवार 16 दिसंबर को मतदाता सूचियों का ड्राफ्ट किया प्रकाशित  | 

विशेष: करवा चौथ की कथा ,महत्व , पूजनविधि एवम आरती

Post Views 71

October 27, 2020

इस दिन सुहागन स्त्री अपने पतियों की दीर्घ आयु व मंगल की कामना से व्रत रखती हैं


करवा चौथ की कथा


महत्व- 


 कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष को चंद्रोदय व्यापिनी चतुर्थी को करवा चौथ या कर कहते हैं, इस दिन सुहागन स्त्री अपने पतियों की दीर्घ आयु व मंगल की कामना से व्रत रखती हैं | इसी दिन दीवार पर शिव- पार्वती, चंद्रमा, गणेश और कार्तिकेय आदि के प्रतीक के चित्र बनाकर उनका रोली अक्षत गुड़ आदि से पूजन किया जाता है

 पूजन विधान-

 व्रत रखने वाली स्त्रियां एक पटरे  पर चीनी मिट्टी का अनाज से भरा करवा व जल से भरा एक लोटा रखकर उन पर सतिया  बनाएं |  करवा  में सुहाग की  प्रतीक कुछ बिंदियाऐं  व श्रद्धा के अनुसार बायने के रूप में कुछ रूपए पैसे रखें फिर, दाएं हाथ में अनाज के कुछ दाने  लेकर करवा चौथ व्रत की कथा सुने, कथा सुनने के बाद चीनी मिट्टी का करवा और जल का लोटा पवित्र स्थान पर रख दें, रात्रि में जब चंद्रोदय हो तब चंद्रमा को लौटे के जल से अर्घ्य देकर करवा, सास, ननंद अथवा ब्राह्मणी को दें और व्रत खोल लें 

करवा चौथ की कथा


 किसी नगर में एक सेठ के साथ बेटे वह एक बेटी थी, बेटी का विवाह 1 वर्ष पूर्व भी हुआ था , अतः करवा चौथ का पहला व्रत उसने मायके में ही किया , इस प्रकार सेठानी उसकी बेटी और बहू में उस दिन व्रती थी , सेठ  के बेटे जब भोजन करने बैठे तो उन्होंने बहन को भी भोजन करने के लिए कहा इस पर वह बोली भैया मैं तो चंद्रमा को अर्घ्य देने के बाद ही भोजन करूंगी ,  इकलौती  होने से भाई उसे बहुत प्यार करते थे,  उन्होंने सोचा की बहन को भूख लग रही होगी तो उन्होंने नगर के बाहर अग्नि जला दी और घर आकर छलनी से अग्नि का प्रकाश दिखाते हुए बोले बहन चंद्रमा निकल आया जल्दी से अर्घ्य देकर भोजन कर लो,  बहन ने अपनी भाभियों से भी कहा कि चलो चंद्रमा को अर्घ्य दे लो, उसकी भाभियों ने अपने पतियों की करतूतों को जान गई थी  वे  बोली बाई जी चंद्रमा तो अभी नहीं निकला है ,तुम्हारे भाई तो तुम्हें छलनी से अग्नि का प्रकाश दिखा रहे हैं , लेकिन उसने भाभियों की बात को अनसुना कर  उस प्रकाश को ही अर्घ्य  देकर झटपट भोजन कर लिया |  इससे गणेश जी उससे अप्रसन्न  हो गए, फल स्वरुप

उसकापति बीमार हो गया बीमार ऐसी थी कि ठीक होने का नाम नहीं ले रही थी, इस प्रकार 1 वर्ष का समय उसने बड़े कष्ट से व्यतीत किया , अगले वर्ष  जब करवा चौथ  आई तब उसने श्रद्धाभक्ति से  करवा चौथ का व्रत किया,  व्रत के प्रभाव से गणेश जी उत्पन्न हो गए और उसके सारे दुख दूर हो गए अब पति भी स्वस्थ हो चुका था और धन-  धान्य की भी दिन दूनी रात चौगुनी वृद्धि होने लगी थी   एक अन्य कथा के अनुसार जब पांडवो पर विपदा पड़ी  तब श्री कृष्ण के कहने पर द्रौपदी ने भी इस व्रत को किया था  ,इस तरह एक बार पार्वती ने भी महादेव जी से कष्ट निवारण का कोई उपाय पूछा तो उन्होंने भी करवा चौथ को विघ्नों का नाश करने वाला बतलाया था​​​​​​​

 करवा चौथ व्रत की उद्यापन विधि 

करवा चौथ व्रत का उद्यापन करने के लिए एक थाली में 4 -4 पूड़ियो पर थोड़ा-थोड़ा हलवा रखकर एक साड़ी ब्लाउज व  श्रद्धा अनुसार भेंट रोली अक्षत से उस थाली को ब्राह्मणों को भोजन करा कर उन्हें सुहाग  की चीजें व दक्षिणा देकर विदा करें 

​​​​​​​

  • करवा माता की आरती

ऊँ जय करवा मइया, माता जय करवा मइया ।
जो व्रत करे तुम्हारा, पार करो नइया ।। ऊँ जय करवा मइया।

सब जग की हो माता, तुम हो रुद्राणी।
यश तुम्हारा गावत, जग के सब प्राणी ।। ऊँ जय करवा मइया।

कार्तिक कृष्ण चतुर्थी, जो नारी व्रत करती।
दीर्घायु पति होवे , दुख सारे हरती ।। ऊँ जय करवा मइया।

होए सुहागिन नारी,  सुख सम्पत्ति पावे।
गणपति जी बड़े दयालु, विघ्न सभी नाशे।। ऊँ जय करवा मइया।

करवा मइया की आरती, व्रत कर जो गावे।
व्रत हो जाता पूरन, सब विधि सुख पावे।।  ऊँ जय करवा मइया।









© Copyright Horizonhind 2025. All rights reserved