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कोरोना न्यूज़: कालादड़ा के निवासी चुनाव का करेंगे बहिष्कार 

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January 14, 2020

कालादड़ा के निवासी चुनाव का करेंगे बहिष्कार 

ग्रामीणो को आज तक नहीं मिला सरकारी योजनाओं का लाभ

ब्यावर, (हेमन्त साहू)। जवाजा पंचायत समिति हेड क्वार्टर से मात्र 8 किलोमीटर दूर एक गांव सुरडिया ग्राम पंचायत के अंतर्गत आता है, जो आज भी मूलभूत सुविधाओं के लिए तरस रहा है। न तो वहां सडक़ है और न हीं पीने के पानी की व्यवस्था है। न तो कभी नरेगा के तहत महिलाओं को काम मिला, और न किसी का पीएम आवास में नाम आया, किसी के भी घर शौचालय बना हुआ नही है। इस गांव में कोई भी सरकारी योजना नहीं आई है। ग्रामीणवासियों ने इस बार पंचायती राज चुनाव में चुनाव का बहिष्कार करने का निर्णय लिया है। गांव में जाने के लिए करीब 2 किलोमीटर की सडक़ पूरी तरह कच्ची हैं, जगह- जगह पत्थर निकल रहे हैं, पैदल चलना भी मुश्किल होता है। गांव के बीचो-बीच पानी बह रहा है, महिलाएं पानी लाने के लिए कीचड़ में जाना पड़ता है। स्कूल भी प्राइमरी तक है उसके बाद लड़कियों को आगे नहीं पढ़ाते हैं, केवल पांचवी तक ही शिक्षा मिलती हैं।

गांव में नहीं है शौचालय

सुरडिया ग्राम पंचायत के गांव कालादड़ा में करीब ढाई सौ परिवार रहते हैं, किसी के घर में नहीं हैं शौचालय, सभी बाहर ही शौच करने को जाते हैं। महिलाएं जिनको सिर पर घडा लेकर पानी लेने के लिए 1 किलोमीटर दूर जाना पड़ता है, वह भी भरे हुए पानी में। इस गाँव को बसे 500 वर्ष हुए हैं तब से लेकर आज तक कोई विकास अथवा विकास कार्य नहीं हुआ है। केवल बीसलपुर पाइप लाइन के तहत एक टंकी का निर्माण जरूर हुआ है वो भी 2 साल पूर्व उसका भी लाभ नहीं मिला। आज भी गांव वासी सरकारी योजनाओं को तरस रहें है ।

पूरे गांव में एक ही परिवार

कालादड़ा गांव में मेहरात समाज के लोग रहते हैं,अंतिम संस्कार के करने के लिए जगह नहीं है, सभी जगह पानी भरा हुआ है। जनप्रतिनिधि चुनाव के दौरान आते हैं बड़ी-बड़ी बातें करके चले जाते हैं। यहां का प्रमुख व्यवसाय केवल काले पत्थर निकालकर अपने परिवार का पालन पोषण करना है। गांव में एक प्राइमरी स्कूल है। जो 1986 के बाद कमरों का काम नहीं होने से वह भी जर्जर हो रहे हैं पटिया टूटी हुई है लेकिन जान जोखिम में डालकर बच्चो की स्कूल तो भेजना ही पडता है।

गांव में नहीं चली नरेगा

हमारे गांव कालाडेरा में आज दिन तक नरेगा कार्य नहीं चला है, इसके लिए हमने कई बार अधिकारियों को भी लिखित में दिया है, हमारी कोई नहीं सुनता, 250 लोगों का परिवार रहता है किसी के पास जॉब कार्ड नहीं है।

पूर्व वार्डपंच, जमना देवी

पूरा गांव नहीं देगा वोट

कालादड़ा गांव मिलकर यह निर्णय लिया है कि पंचायती राज सरपंच चुनाव में किसी को वोट नहीं देंगे, चुनाव का बहिष्कार करेंगे, जब तक हमारे गांव में सडक़ नहीं बनाई जाती है तब तक हम चुनाव का बहिष्कार करेंगे।

सागर सिंह, ग्रामीण, कालादड़ा

गांव के मुख्य सडक़ में भरा पानी

गांव का मुख्य सडक़ जहां महिलाएं पानी लेकर आती है, वह कई बार पानी में गिर जाती है, बारिश हुए 6 महीना हो गया अभी पानी भरा हुआ है, जिसे बच्चों व महिलाओं को खासी परेशानी हो रही है, आज भी कुए के पानी पर निर्भर है पूरा गांव।

शंकर, ग्रामीण कालादड़ा


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